पंजाब नेशनल बैंक (PNB) घोटाले के आरोपी और फरार हीरा कारोबारी मेहुल चोक्सी को भारत लाने की प्रक्रिया अब तेज हो गई है। बेल्जियम की अदालत ने बुधवार को भारतीय सरकार के पक्ष में फैसला सुनाते हुए उनके प्रत्यर्पण (Extradition) की अनुमति दे दी। इस फैसले के बाद भारत के लिए यह एक बड़ी कानूनी जीत मानी जा रही है।
भारतीय एजेंसियों ने अदालत में यह स्पष्ट किया था कि चोक्सी को भारत लाने के बाद मुंबई की आर्थर रोड जेल के बैरक नंबर 12 (Barrack No. 12) में रखा जाएगा। यह वही जेल है, जहाँ पहले से ही कई हाई-प्रोफाइल आरोपी बंद हैं। भारत ने अदालत को जेल की तस्वीरें, वहां की सुरक्षा और स्वास्थ्य सुविधाओं से जुड़े दस्तावेज भी दिखाए ताकि मानवाधिकार संबंधी चिंताओं को दूर किया जा सके।
अदालत में चोक्सी की ओर से दलील दी गई थी कि भारत में उन्हें निष्पक्ष सुनवाई नहीं मिलेगी और जेल की स्थिति खराब है। लेकिन बेल्जियम कोर्ट ने इन सभी दावों को “तथ्यों से परे” बताते हुए खारिज कर दिया। अदालत ने कहा कि भारत में न्यायिक प्रक्रिया निष्पक्ष है और वहां कैदियों के अधिकारों का पूरा ध्यान रखा जाता है।
सूत्रों के मुताबिक, चोक्सी को भारत लाने की तैयारी लगभग पूरी है। जैसे ही बेल्जियम में औपचारिक प्रक्रिया पूरी होगी, उन्हें एक विशेष विमान से भारत लाया जाएगा। यहां पहुंचने के बाद उन्हें मुंबई की Arthur Road Jail में रखा जाएगा और ED तथा CBI उनसे पूछताछ करेगी।
बैरक नंबर 12 को खास तौर पर सुरक्षा और निगरानी के लिहाज से तैयार किया गया है। इसमें CCTV कैमरे, अलग बाथरूम और वेंटिलेशन की सुविधा है। भारतीय अधिकारियों ने अदालत को बताया था कि चोक्सी को रोजाना संतुलित भोजन, दवाइयां और मेडिकल चेकअप की सुविधा भी दी जाएगी।
गौरतलब है कि मेहुल चोक्सी पर 13,500 करोड़ रुपये के PNB घोटाले में कथित रूप से शामिल होने का आरोप है। यह वही मामला है जिसमें उनका भांजा नीरव मोदी भी आरोपी है और फिलहाल ब्रिटेन की जेल में है।
इस फैसले के बाद भारत के लिए यह उम्मीद बढ़ गई है कि नीरव मोदी के प्रत्यर्पण की प्रक्रिया भी जल्द आगे बढ़ेगी। वहीं, चोक्सी के भारत आने के बाद एक बार फिर PNB स्कैम की जांच में तेजी आने की संभावना है।
