
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने एक बड़ा खुलासा करते हुए बताया कि उन्होंने अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप का व्हाइट हाउस में डिनर और बातचीत के लिए दिया गया आमंत्रण अस्वीकार कर दिया था। मोदी ने बताया कि जब वे कनाडा में जी7 शिखर सम्मेलन में भाग लेने गए थे, उस समय ट्रंप ने उन्हें वाशिंगटन आने और डिनर पर चर्चा करने का न्योता दिया।
हालांकि प्रधानमंत्री मोदी ने इस आमंत्रण को यह कहकर ठुकरा दिया कि वे ओडिशा आना चाहते थे, क्योंकि वहां ‘महाप्रभु की धरती’ यानी भगवान जगन्नाथ की रथ यात्रा होनी थी। मोदी ने इस बात को खुद लोगों के सामने एक जनसभा के दौरान साझा किया, जिससे यह स्पष्ट हुआ कि उन्होंने कूटनीतिक मुलाकातों के बजाय भारतीय संस्कृति और परंपरा को प्राथमिकता दी।
मोदी ने ट्रंप से क्या कहा
प्रधानमंत्री ने बताया कि उन्होंने ट्रंप को कहा, “आपका निमंत्रण मेरे लिए सम्मान की बात है, लेकिन मैं भारत वापस लौटना चाहता हूं क्योंकि रथ यात्रा में भाग लेना मेरे लिए ज्यादा अहम है।” इसके साथ ही मोदी ने ट्रंप को भारत आने का निमंत्रण भी दिया, जिसे ट्रंप ने सहर्ष स्वीकार कर लिया।
आतंकवाद पर भी हुई बात
मोदी और ट्रंप की बातचीत में आतंकवाद का मुद्दा भी उठा। पीएम मोदी ने कहा कि भारत आतंकवाद पर कोई समझौता नहीं करेगा और उसका रुख स्पष्ट और सख्त रहेगा। ट्रंप ने भी भारत की इस नीति की सराहना की।
पूर्व निर्धारित कार्यक्रमों का हवाला
इस पूरे घटनाक्रम पर विदेश सचिव विक्रम मिस्री ने भी टिप्पणी करते हुए बताया कि प्रधानमंत्री के पास पहले से निर्धारित कार्यक्रम थे और वे पहले ही तय कर चुके थे कि उन्हें ओडिशा जाना है, इसलिए ट्रंप के आमंत्रण को विनम्रता से अस्वीकार किया गया।