
22 अप्रैल 2025 को जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हुए आतंकी हमले में 26 पर्यटकों की मौत हो गई, जिसमें अधिकांश हिंदू तीर्थयात्री थे। इस हमले की जिम्मेदारी पाकिस्तान स्थित आतंकवादी संगठन लश्कर-ए-तैयबा से जुड़े ‘द रेजिस्टेंस फ्रंट’ ने ली। भारत ने इस हमले के लिए पाकिस्तान को दोषी ठहराया और इसके जवाब में सिंधु जल संधि को निलंबित कर दिया।
भारत के इस कदम के बाद पाकिस्तान ने कड़ी प्रतिक्रिया दी। पाकिस्तान के रक्षा मंत्री ख्वाजा आसिफ ने चेतावनी दी कि यदि भारत सिंधु जल संधि का उल्लंघन करता है, तो इसे युद्ध की घोषणा माना जाएगा। उन्होंने कहा कि पाकिस्तान के पास परमाणु हथियार हैं और वह उनका उपयोग करने से पीछे नहीं हटेगा।
पाकिस्तान ने भारत के साथ सभी द्विपक्षीय समझौतों को निलंबित कर दिया है, जिसमें 1972 का शिमला समझौता भी शामिल है। इसके अलावा, पाकिस्तान ने भारतीय विमानों के लिए अपना हवाई क्षेत्र बंद कर दिया है और भारतीय राजनयिकों को निष्कासित कर दिया है।
भारत ने भी पाकिस्तान के खिलाफ कड़े कदम उठाए हैं, जिसमें पाकिस्तानी राजनयिकों को निष्कासित करना, वीजा सेवाओं को निलंबित करना और अटारी-वाघा सीमा को बंद करना शामिल है।
इस स्थिति ने भारत और पाकिस्तान के बीच तनाव को चरम पर पहुंचा दिया है, और दोनों देशों के बीच युद्ध की आशंका बढ़ गई है। विशेषज्ञों का मानना है कि यदि स्थिति को शीघ्र नियंत्रित नहीं किया गया, तो यह दक्षिण एशिया में गंभीर संकट का कारण बन सकता है।
