
कनाडा की वित्त मंत्रालय की “2025 Assessment of Money Laundering and Terrorist Financing Risks in Canada” शीर्षक वाली रिपोर्ट में पहली बार यह स्वीकार किया गया है कि खालिस्तानी चरमपंथी संगठन—जैसे कि Babbar Khalsa International और International Sikh Youth Federation—कनाडा से वित्तीय सहायता प्राप्त कर रहे हैं। यह सहायता राजनीतिक रूप से प्रेरित हिंसात्मक गतिविधियों के लिए इस्तेमाल हो रही है।
रिपोर्ट की मुख्य विशेषताएँ निम्नलिखित हैं:
धन स्रोत विविध: ये समूह चैरिटेबल ट्रस्ट, प्रवासी समुदाय, और गैरकानूनी गतिविधियों जैसे कि ड्रग तस्करी व ऑटो चोरी से फंड जुटाते हैं ।
वित्त पोषण के तरीके: क्राउडफंडिंग, क्रिप्टोकरेंसी, मनी सर्विसेज, बैंकों, चैरिटेबल संस्थानों, और राज्य प्रायोजित सहयोग का भी दुरुपयोग होता है ।
अन्य संगठनों पर भी चिंताएँ: रिपोर्ट में खालिस्तानी संगठनों के अलावा, हमास और हिज़बुल्लाह जैसे अन्य आतंकवादी समूहों द्वारा भी कनाडा से धनार्जन की आशंका जताई गई है ।
संघीय एजेंसियों की पुष्टि: कनाडा की खुफिया एजेंसी CSIS ने पहले भी यह स्वीकार किया था कि खालिस्तानी चरमपंथी कनाडा से प्रचार, धन जुटाने, और भारत में हिंसा की योजना बनाने का काम कर रहे हैं ।
इन खुलासों ने भारत की लम्बे समय से की आवाज़ को वैधता दी है—भारत वर्ष से यह कह रहा था कि कनाडा खालिस्तानी चरमपंथियों के लिए पनाहगाह बन चला है, जिसकी अब आधिकारिक पुष्टि हो चुकी है।